बहुत सी लड़किया व महिलायें अपने काले रंग से परेशान होकर कई प्रकार की क्रीम का उपयोग करने लगती है, जिससे वह आकर्षित लगे तथा उनको भी सम्मान मिले । परंतु सुन्दर दिखने की चाहत मे वह कई परेशानियों मे फस जाती है। इन क्रीम का उपयोग करने लग जाती है। बिना उसके नतीजे को जाने fairness cream पहले तो अपना जादू चलती है रंग को धीरे धीरे साफ करने लगती है जिससे लड़कियाँ व महिलाये प्रभावित होती है। तथा इसका अर्थ यह निकलता की अंत मे उन लड़कियो व महिलाओं को बिमारियों का सामना करना पढा ।ग्लोमेरुलोनेफ्राइटिस ऐसी बीमारी है इस बिमारी मे गुर्दे के छोटे फिल्टर क्षतिग्रस्त हो जाते हैं।
WTO (विश्व स्वास्थ्य संगठन) का कहना है
Fairness cream मे मरकरी पाया जाता हैं। WTO के अनुसार मरकरी किडनी की समस्या बनता है ,मरकरी के प्रयोग से स्किन साबुन तथा ब्यूटी क्रीम बनाए जाते है। जिसके अधिक उपयोग से स्किन का रंग ढलने लगता है। और स्किन खराब व काली होने लगती है।
मुंबई से आई चोकादेने वाली खबर
मुंबई मैं रहनें वाली 3 महिलाओं की हुई किडनी खराब चोकाने वाला मामला आया सामने एक ही घर म रहनें वाली 3 महिलाये ।सुनने मे आया की तीनों ही महिलाये रिस्तेदार थी एक महिला को देखकर बाकी दोनो महिलाओं न fairness cream का उपयोग शुरु कर दिया। 3 महीने उपयोग के बाद महिलाओं को परेशानिया होने लगी व अपने नजदीकी डॉ के पास गई वहां जाकर पता चला की महिलाओं को ग्लोमेरुलोनेफ्राइटिस नामक बिमारी हो गई हैं, जो की fairness cream के उपयोग करने हेतु हुआ हैं।
सगी बहने हुई ग्लोमेरुलोनेफ्राइटिस का शिकार
दो सगी बहने हुई ग्लोमेरुलोनेफ्राइटिस का शिकार पुणे की रहने वाली दो बहने हुई ग्लोमेरुलोनेफ्राइटिस का शिकार दोनो बहने कर रही थी fairness cream का प्रयोग 4 महीने तो क्रीम ने अपना असर दिखाया परंतु कुछ समय बाद ही दोनो बहनों को किडनी मे समस्या होंने लगी। जब दोनो डॉ के पास गई और टेस्ट करवाये रेपोर्त मे उनको ग्लोमेरुलोनेफ्राइटिस आया। डॉ भी सोच मे पढ गया ।
लड़कियो ने पूरी बात का खुलासा किया जब डॉ ने बताया की fairness cream के कारण ही ग्लोमेरुलोनेफ्राइटिस जैसी बिमारी हुई हैं। ये बीमारी ऐसी है जिसमें किडनी क छोटे filter खराब हो जाते है। क्रीम के प्रयोग से उसकी त्वचा तो गोरी हो रही थी पर अन्दर ही अन्दर किडनी खराब हो रही थी ।जानकारी के अनुसार एक बहन का स्वास्थ्य थोड़ा ठीक हो रहा है ।